जानिए हरिद्वार के कुंभ के मेले में कब-कब होगा शाही स्नान
इस वर्ष 2021 में हरिद्वार में कुंभ का मेला आयोजित होने वाला है। इस साल कुंभ के मेले में कोरोना का असर देखने को मिलेगा। मुख्य तौर पर देखा जाए तो कुंभ के मेले का आयोजन फरवरी से लेकर अप्रैल के बीच में किया जाएगा। लेकिन शाही स्नान के अलावा भी कुछ खास तिथियां है जिस दिन स्नान किया जाएगा। आज के लेख में हम आपको कुंभ के मेले की कुछ ख़ास तिथियां बताएगे जिस दिन स्नान करने का बहुत ही ख़ास महत्व है। कुंभ के मेले का स्नान मकर सक्रांति से शुरू होगा।
1. |
14 जनवरी 2021 |
मकर संक्रांति |
2. |
11 फरवरी 2021 |
मोनी अमावस्या |
3. |
16 फरवरी 2021 |
बसंत पंचमी |
4. |
27 फरवरी 2021 |
माघ पूर्णिमा |
5. |
11 मार्च 2021 |
महाशिवरात्रि (शाही स्नान) |
6. |
12 अप्रैल 2021 |
सोमवती अमावस्या (शाही स्नान) |
7. |
13 अप्रैल 2021 |
चैत्र शुक्ल प्रतिपदा |
8. |
14 अप्रैल 2021 |
बैसाखी (शाही स्नान) |
9. |
21 अप्रैल 2021 |
रामनवमी |
10. |
27 अप्रैल 2021 |
चैत्र पूर्णिमा (शाही स्नान) |
ऊपर दी गई तिथियों पर कुंभ के मेले का स्नान होने का तय है। लेकिन कोरोना के चलते बदलाव सम्भव हो सकता है। जैसा कि हम जानते है कि कुंभ के मेले का आयोजन जब भी होता है हरिद्वार में गंगा नदी में, उज्जैन में शिप्रा नदी में, नासिक में गोदावरी और प्रयाग (इलाहाबाद) में गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम स्थल पर कुंभ आयोजित होता है।
हिन्दू धर्म के अनुसार ऐसी मान्यता है कि इंद्र के बेटे जयंत के के घड़े में से अमृत की बूंदे भारत में चार जगहों पर गिरी थी। वह है हरिद्वार, उज्जैन, नासिक और प्रयाग। उज्जैन में कुंभ को सिंघस्थ कहा जाता है। धार्मिक मान्यतों के अनुसार ऐसी धारणा है कि कुंभ में श्रद्धापूर्वक स्नान करने वाले लोगों के सभी पाप कट जाते है और इसी के साथ में उन्हें मोक्ष की प्राप्ति भी होती है।
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